February 19, 2025
पिटकुल कर रहा था नियमों के विरुद्ध धन उगाही, नियामक आयोग ने की सख्त कार्रवाई..

पिटकुल कर रहा था नियमों के विरुद्ध धन उगाही, नियामक आयोग ने की सख्त कार्रवाई..

 

 

 

उत्तराखंड: राज्य में लागू नियम के खिलाफ पावर ट्रांसमिशन कारपोरेशन ऑफ उत्तराखंड लिमिटेड (पिटकुल) ने कंपनियों से दो विद्युत सब स्टेशनों के बीच बे निर्माण को लाखों रुपये वसूल लिए। उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग ने सख्ती दिखाई तो पिटकुल ने पैसा कंपनियों को लौटा दिया। अब नियामक आयोग ने आदेश दिया है कि इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई कोड 2020 के तहत यूपीसीएल ही इन कार्यों के लिए पैसा ले सकता है। आपको बता दे कि नियामक आयोग के समक्ष यह मामला पिछले दिनों आया था, जिस पर आयोग के अध्यक्ष एमएल प्रसाद ने फैसला सुनाया है। इसमें कहा गया था कि पिटकुल ने ऊषा एल्युमिनियम कंपनी से 33 केवी व 132 केवी महुआखेड़ागंज सब स्टेशन के बीच बे निर्माण के लिए 67.78 लाख का इस्टीमेट बनाकर पैसा जमा करा लिया।

आयोग के समक्ष लाया जाएगा खर्च
इसी प्रकार, फ्रेश पेट कंपनी ने भी 91.95 लाख जमा कराए हैं, जिसके लिए पिटकुल ने 82.19 लाख का इस्टीमेट दिया था। एक कंपनी मेट्रो डेकोरेटिव से बे निर्माण के लिए कोई पैसा ही नहीं लिया गया। कनेक्शन भी दे दिया गया। आयोग में मामला पहुंचने के बाद पिटकुल ने जिन कंपनियों से पैसा लिया था, वह लौटा दिया।

इन अनियमितताओं पर आयोग के अध्यक्ष एमएल प्रसाद ने स्पष्ट किया है कि राज्य में यूईआरसी इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई कोड रेगुलेशन 2020 लागू है। इसके तहत कहीं भी दो सब स्टेशनों के बीच बे निर्माण के लिए मानकानुसार तय राशि यूपीसीएल लेगा। इससे ऊपर का खर्च वह आयोग के समक्ष लाएगा। इसी प्रकार, इसमें पिटकुल का जो भी खर्च होगा, वह नियामक आयोग के समक्ष एनुअल रिकरिंग रेवेन्यू (एआरआर) के माध्यम से लाएगा। जिस कंपनी से कोई पैसा नहीं लिया गया है, उससे वसूली की जाए। उन्होंने ये भी आदेश दिया है कि भविष्य में इसी नियम के तहत ही दो विद्युत सब स्टेशनों के बीच बे निर्माण किया जा सकेगा।

 

 

About The Author

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *