May 16, 2025
रेडियोलॉजिस्ट की कमी से जूझ रहे सरकारी अस्पताल, एसटीएच में कई जांचें होंगी आउटसोर्स..

रेडियोलॉजिस्ट की कमी से जूझ रहे सरकारी अस्पताल, एसटीएच में कई जांचें होंगी आउटसोर्स..

 

 

उत्तराखंड: हल्द्वानी के सुशीला तिवारी अस्पताल (एसटीएच) में मरीजों की बढ़ती भीड़ और रेडियोलॉजी विभाग की लचर व्यवस्थाओं को देखते हुए अब अल्ट्रासाउंड, ईसीजी और एक्स-रे सेवाओं को आउटसोर्स करने की तैयारी की जा रही है। अस्पताल प्रशासन का दावा है कि इससे जांच प्रक्रिया में तेजी आएगी और व्यवस्थाएं दुरुस्त होंगी। हालांकि, इस व्यवस्था का सीधा असर मरीजों की जेब पर पड़ेगा। आउटसोर्सिंग के चलते अब मरीजों को इन सेवाओं के लिए पहले से अधिक शुल्क चुकाना पड़ सकता है। अस्पताल प्रशासन का तर्क है कि रेडियोलॉजी विभाग में संसाधनों और विशेषज्ञों की कमी के कारण अक्सर मरीजों को काफी इंतजार करना पड़ता है, जिससे इलाज में देरी होती है। ऐसे में आउटसोर्सिंग एक समाधान के तौर पर देखा जा रहा है। यह फैसला मरीजों की सुविधा और स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता बढ़ाने की मंशा से लिया गया है, लेकिन आमजन पर आर्थिक बोझ बढ़ने की चिंता भी बनी हुई है।

सुशीला तिवारी अस्पताल (एसटीएच) में रेडियोलॉजिस्ट डॉक्टरों की भारी कमी के चलते अब कई महत्वपूर्ण जांच सेवाओं को आउटसोर्स करने का फैसला लिया गया है। अस्पताल के प्राचार्य डॉ. अरुण जोशी का कहना हैं कि यह निर्णय शासन स्तर पर लिया गया है और इसका उद्देश्य राज्य के उन अस्पतालों में स्वास्थ्य सेवाएं बहाल रखना है जहां विशेषज्ञ डॉक्टरों की भारी कमी है। डॉ. जोशी का कहना हैं कि एसटीएच में एक्स-रे की व्यवस्था तो है, लेकिन कुछ विशेष प्रकार के एक्स-रे अस्पताल में नहीं हो पाते, जिन्हें अब आउटसोर्स के माध्यम से कराया जाएगा। वहीं ओपीडी में होने वाली ईसीजी जांच को भी अब निजी सेवा प्रदाताओं के माध्यम से कराया जाएगा। वर्तमान में अस्पताल में सिर्फ इमरजेंसी ईसीजी ही की जाती है। जबकि अस्पताल में ईईजी टेस्ट की व्यवस्था नहीं है, इस व्यवस्था को भी आउटसोर्स के माध्यम से कराए जाएंगे।

उनका कहना हैं कि सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में भारी तादाद में अल्ट्रासाउंड कारने के लिए मरीज पहुंचते हैं। लेकिन रेडियोलॉजिस्ट की स्थायी व्यवस्था नहीं होने के चलते या कई बार डॉक्टर के छुट्टी में चले जाने के चलते मरीजों को अल्ट्रासाउंड करने के लिए परेशानी उठानी पड़ती है। जिसको देखते हुए अल्ट्रासाउंड को अब आउटसोर्स के माध्यम से करवाने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने बताया कि सुशीला तिवारी अस्पताल में रोजाना 50-60 मरीज अल्ट्रासाउंड के लिए पहुंचते हैं। आउटसोर्स के माध्यम से डॉक्टरों की तैनाती होने से मरीजों को राहत मिलेगी। यह सभी सेवाएं सरकार द्वारा निर्धारित किए गए शुल्क के तहत ही किए जाएंगे। बताया जा रहा है कि सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में ईसीजी टेस्ट का चार्ज 50 था, जो अब 175 पर हो जाएगा। जबकि 250 से अल्ट्रासाउंड 700 हो जाएगा।

 

 

 

About The Author

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *